LAC पर तनाव : चीन सीमा पर 16 हजार फुट की ऊंचाई पर बढ़ाई गई भारतीय जवानों की संख्या

lac india china
lac india china

नई दिल्ली : भारत और चीन के बीच सम्बन्ध अच्छे नहीं है यहां तक कि बीते कुछ महीनों से एलएसी पर चल रहे विवाद का देखते हुए इस साल सर्दियों में पहली बार चीनी सीमा के पास आईटीबीपी के जवान तैनात रहेंगे। समुद्र तल से 10000 से 16500 फीट की ऊंचाई पर और खून जमा देने वाली वाली सर्दी के बीच हमारे जांबाज चीन की गतिविधियों पर नजर रखेंगे। जवानों के लिए वहां बनी चौकियों पर हेलीकॉप्टर से गर्म कपड़े और रसद सामग्री पहुंचाई जा रही है।

lac india china
lac india china

10 हजार फीट की ऊंचाई पर स्थित रिलकोट, 8898 फीट की ऊंचाई पर बुगडियार और समुद्रतल से 16 हजार 500 फीट की ऊंचाई पर दुंग चौकियों पर चीन सीमा के करीब ये जवान तैनात किए गए हैं। इसके अलावा व्यास वैली के लिपुलेख में समुद्रतल से 14 हजार फीट और दारमा वैली की अंतिम चौकी दावे में भी 15 हजार फीट की ऊंचाई पर भी जवान तैनात रहेंगे। विगत वर्षों तक ठंड बढ़ने पर जवानों को मिलम और गुंजी शिफ्ट कर दिया जाता था, लेकिन चीन से बढ़ रहे तनाव के बाद जवानों को सर्दी में वहीं तैनात रहने के आदेश जारी हुए हैं। दुंग, बुगडियार और रिलकोट चोकियों पर करीब 700 से 800 आईटीबीपी के जवान तैनात किए गए हैं ।

चीन पर नजर-

चीन हमेशा से ही कोई न कोई चाल चलता रहता है चीन की हर गतिविधि पर पैनी नजर रखने के लिए लिपुलेख में एचडी कैमरे लगाए गए हैं। जिनकी मॉनीटरिंग दिल्ली से की जा रही है। सेना के अलावा अन्य लोगों का आना जाना मना है ।

-20 डिग्री तक रहता है तापमान-

आईटीबीपी की उच्च हिमालयी क्षेत्रों में स्थित दुंग, बुगडियार, रिलकोट, लिपुलेख और दावे में शीतकाल में -15 से -20 डिग्री तापमान रहता है यहां शीतकाल में 12 से 15 फुट तक बर्फबारी होती है। इस कारण जवानों को निचले इलाकों में शिफ्ट कर दिया जाता था यह पहला मौका है कि इस बार शीतकाल में हिमवीर अपनी पोस्टों पर डटे रहेंगे।

Leave a comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *