नई दिल्ली : दिल्ली सरकार इन दिनों लगातार कोरोना वैक्सीन की मांग कर रही है। इसके अलावा अंतरराष्ट्रीय बाजार में से वैक्सीन खरीदने की जुगत में सरकार लगी है। वहीं उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा है कि दिल्ली को जून में कोवैक्सीन की जो खुराकें मिलेंगी उनका उपयोग केवल उन्हीं के लिए किया जाएगा जिन्होंने मई में वैक्सीन का पहला शॉट लिया था।

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दिल्ली सरकार को जून में कोवैक्सिन की 91,960 खुराक मिलने की उम्मीद है। सिसोदिया का कहना है कि यह सुनिश्चित करने के लिए निर्णय लिया गया है कि भारत बायोटेक के कोविड -19 वैक्सीन प्राप्त करने वाले 4-6 सप्ताह के गैप में अपनी दूसरी खुराक लेने से न चूकें। ये निर्णय 18-44 आयु वर्ग के प्राप्तकर्ताओं पर लागू होगा, जो 1 मई को टीके के लिए पात्र हो गए थे।
कोवैक्सीन की दोनों खुराकों के बीच होना चाहिए इतना गैप
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि केंद्र सरकार के टीकाकरण प्रोटोकॉल के अनुसार, कोवैक्सीन की पहली और दूसरी खुराक के बीच का अंतराल कम से कम चार सप्ताह का होना चाहिए, जबकि सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया के कोविशील्ड वैक्सीन के लिए यह कम से कम 12 सप्ताह का होना चाहिए।
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राजधानी दिल्ली में 18-44 वर्ष के बच्चों के लिए टीकाकरण 3 मई को खोला गया था। जिन लोगों को पहले दिन कोवैक्सीन का पहला शॉट मिला, वो 31 मई को अंतराल के चार सप्ताह पूरे कर लेंगे, और दूसरी खुराक के लिए पात्र हो जाएंगे।

जून में मई की अपेक्षा कम मिल रही दिल्ली को कोवैक्सीन
यही कारण है कि दिल्ली के उपमुख्यमंत्री कहा कि हमने तय किया है कि जून में हमें मिलने वाली नई कोवैक्सिन खुराक उन लोगों के लिए होगी जिन्हें मई में शहर में 18-44 श्रेणी के लिए अभियान शुरू होने पर पहला शॉट मिला था। यह सुनिश्चित करने के लिए है कि वे अपना दूसरा शॉट मिस न करें, जिसे उन्हें 4-6 सप्ताह में लेना है।
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केंद्र ने दिल्ली सरकार को सूचित किया है कि जून में उसे कोवैक्सीन की कुल 91,960 खुराक दी जाएगी। जबकि इससे पहले मई में दिल्ली को कोवैक्सीन की 1.5 लाख खुराक मिली थी।